पूजा कक्ष हमेशा भारतीय घरों का एक अभिन्न अंग रहा है और परवार चाहे पारंपरिक हो या आधुनिक ये स्थल उनके लिए बहुत महत्वपूर्ण हैं। एक समय था जब सभी मंदिर और पूजा कक्ष एक जैसे दिखते थे, लेकिन छोटे होते घरों के आकर और आतंरिक सज्जा में प्रगतियों के कारण पूजाघर के नक़्शे और सजावट में ज़मीन आसमान का अंतर आ गया है। वे अब भी उतने ही नैतिक और सुंदर हैं जैसे की पहले लेकिन ज़्यदातर घरों में संकुचित हो कर कमरे से शेल्फ और अलमारियों में समां गए हैं। इस लम्बे विचार पुस्तक में हमने सुंदर पूजा कक्षों की एक सूची बनायीं है जो आपके नए घर में पूजा स्थल की रचना करने में प्रेरणा दे सकती हैं। इन्हे आप किसी अनुभवी सज्जाकार द्वारा बनवा सकते हैं या सूझ-भूझ से अपने ज़रुरत अनुसार एक पूजाकक्ष खुद बना सकते हैं।
घर की बाकि हिस्सों की तरह ये पूजा कमरा रौशनी से जगमगाता रहता है और इसमें उपयोग करने वाले रंग और सज्जा के कारन ये शानदार और शाही प्रतीत होता है। पीछे के दीवार पर रौशनी और कृत्रिम तत्वों से अद्वितीय अर्ध-पारदर्शी देवी-देवताओ की तस्वीर बनायीं गयी है जिससे ये लगता है के वे दीवार में विराजमान हैं। इसके अलावा संगमरकार के फर्श के ऊपर उसी पदार्थ की पीठिका बनायीं गयी है और वह चांदी के पूजा सामग्री और देवताओ की मूर्तियां रखी हैं। कांच का दरवाज़ा बंद होने पर भी भगवान की झलक प्रदान करते हैं।
हम वास्तव में इस सुरुचिपूर्ण, सरल और बहुत आकर्षक पूजा कक्ष को देखते ही दंग रह गए थे जिनमें कोई सीमाएं और क्षेत्र नहीं है, फिर भी अपने स्थान पर जगमाते सूरज की तरह दमक रहा है। छोटे लकड़ी के कैबिनेट में सजी ये गणेश भगवन की खूबसूरत प्रतिमा विशेष और अलग दिखता है और कांच के पाट के कारन पूजा के दौरान एकांत स्थान भी महसूस होता है।
संगमरमर की उत्कृस्ट नक्काशी से सजे दीवार और सौगन की लकड़ी से बना हुआ मजबूत आधार इस अनोखे ढंग से सजाये हुए पूजा कक्ष को चांदी जैसे चमक प्रदान करता है। लकड़ी के आधार में सुसज्जित विष्णु भगवन भगवन की खूबसूरत चांदी की तस्वीर और निचे सजे चांदी से बने हंस के आकर का पूजा पीठ, पूजा सामग्री इत्यादि आकर्षक मंदिर को जीवंत और सौंदर्यशासित आकर्षण देता है।
राधा कृष्ण हमारे देश में सबसे लोकप्रिय भगवन है जिन्हे हर पूजा कक्ष में रखा जाता है पर यहाँ छोटे से पूजा क्षेत्र में एक मंच सिर्फ दोनों मूर्तियां को एकीकृत करने का स्थान हैं। घुमावदार आधार और धातु की मूर्तियों को चालाकी से कमरे के एक कोने में रखा गया है ताकि सुबह श्याम दिया-बाती करने पर भी लकड़ी के मंच पर कोई असर नहीं होगा और वातावरण स्वच्छ रहेगा ।
ये आदित्य और सुन्दर पूजा घर इस परिवार के समर्पण और भक्ति भाव के साथ-साथ उनके वैभव का भी प्रतिक बन गया है। खूबसूरत सज्जा के साथ नक्काशी किया हुआ डबल दरवाजा का प्रवेश द्वार और सफेद संगमरमर से सजे छत दीवार और फर्श कमरे को न्यूनतर और शांतिपूर्ण बनाते हैं। यह एक ही आदर्श उदाहरण है जहा स्वर्ण पृष्ठभूमि और एक केंद्रीय मंदिर के साथ पूजा कक्ष, सुखद और शांत लग रहा है।
यदि आप हर दिन पूजा और ध्यान में कुछ समय शांतिपूर्वक बिताना पसंद करते हैं में इस तरह की एक छोटी सी मंदिर आपके घर के लिए एकदम सही है। यह स्नातक और अकेले रहने वाले लोगों के लिए घर के अंदर बढ़िया विकल्प है जहाँ ध्यान और चिंतन के लिए छोटी मूर्ति, थोड़े पूजा के पात्र और लैंप को प्रकाश देने और क्षेत्र को सुशोभित करने के लिए रखा गया है।
हालांकि सोने और चांदी के रंगों से सजी पूजा कक्ष की पृष्ठभूमि सामान्य बात है लेकिन यहाँ एक नया उदाहरण तैयार किया गया है जिसमे लकड़ी भी मुख्य भूमिका निभा रहा है जो दिखाता है कि कैसे रंग और तत्वों का मिलान भी इस्तेमाल या जा सकता है। भूरे और पीले रंगों का उपयोग करें क्योंकि उन्हें हिंदू पौराणिक कथाओं में शुभ माना जाता है।
साईं बाबा के कई मूर्तियां, पोस्टर, और अन्य प्रासंगिक तत्वों के साथ एक विशाल खुला कमरा बनाया गया है ताकि भजन मंडली और पूजा सभा इत्यादि सब एक ही स्थान पर पूर्ण हो सके। एक छोटी सी 4 कदम वाली सीढ़ी भी पूजा करने के लिए लगायी गयी है ताकि उसपर चढ़ कर बाबा का अलंकार और सज्जा करने में मदद हो । रोजाना के पूजा के लिए छोटा आकार की साईं बाबा की मूर्ति केसर कपड़ों में निचे मंजिल पर रखा गया है।
किस शास्त्र में लिखा है की कि आपके घर पर पूजा मंदिर के लिए एक विशेष रूप से परिभाषित क्षेत्र या बड़ा कमरा चाहिए? इस शानदार और नए नमूने को देखें कि आप अपने भोजन गृह या घर के किसी अन्य कमरे के बीच पूजा मंदिर कैसे स्थापित कर सकते हैं? मुर्तिया, तस्वीरें और पूजा सामग्री सब खुले शेल्फ में सुन्दर से सजे हैं और खिड़की से आने वाली हवा को पवित्र कर कमरे में कमरे में विस्तृत करने में मद्दद करते हैं।
यदि आप बजट से बंधे हैं तो पूजा स्थल ऐसा बनाये जिसमे वो सारे तत्वों हो जो आपके मन और आत्मा को भये और आँखों को आकर्षित भी करे। यहाँ पर प्रस्तुत किया हुआ विचार सादे लकड़ियों के दराज़ो से बना है और देखने से भंडारण दराज सा लगता है लेकिन उसके ऊपर लकड़ी के सुन्दर आंकड़े और मूर्तियों को सलीके से सजाकर पूजाघर बनाया गया है जिसमे आगे गुलाबी पर्दा सुखदायक दीखता है।
अगर आप कुछ और खूबसूरत तरीके से सजाए गए पूजा कक्षों को देखना चाहते हैं तो ये ज़रूर देखें ।